जागो प्यारे

जागो प्यारे
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जागो प्यारे अब मत सोओ, दूर भया अंधियारा।
उठ कर बैठो आंखें खोलो, फैल गया उजियारा।
पशु-पक्षी सब जाग गए, और जाग गया जग सारा। 
अंधकार को दूर भगा कर, निकला सूरज प्यारा। 
जागो प्यारे अब मत सोओ, दूर भया अंधियारा।
तू दादा का प्यारा है, और दादी का दुलारा। 
पापा का तू राजकुंअर है, और मां की आंखों का तारा। 
देखो बेटा नवप्रभात का, मौसम है कितना न्यारा। 
जागो प्यारे अब मत सोओ, दूर भया अंधियारा।
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मनोज कुमार अनमोल 
   रतापुर, रायबरेली 
       उत्तर प्रदेश

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